भारत सरकार द्वारा मृदा स्वास्थ्य प्रबंधन हेतु कृषकों को स्वाईल हैल्थ कार्ड प्रदाय करने के लिए वर्ष 2014 – 15 से स्वाईल हैल्थ कार्ड योजना लागु की गई है।
योजना के अंतर्गत वैज्ञानिक पद्धति से ग्रिड आधारित मृदा नमूना एकत्रित कर विश्लेषण उपरान्त फस्ल्वर संतुलित पौषक तत्व / उर्वरकों की अनुशंसा के साथ कृषकों नी:शुल्क स्वाईल हैल्थ कार्ड उपलब्ध कराया जाना है।
योजना के प्रमुख उददेश्य क्या है
- ग्रिड के आधार पर मृदा नमूना लिये जाकर प्रत्येक कृषक को तीन वर्ष के उपराल पर मृदा स्वास्थ कार्ड उपलब्ध करना ।
- पौधें के लिये आवश्यक मुख्य / सूक्ष्म तत्वों का मृदा नमूना में परीक्षण कर उर्वरकों की अनुशंसा करना।
- मृदा स्वास्थ्य कार्ड में दर्शित अनुशंसा के आधार पर संतुलित पोषक तत्व प्रबंधन को बढ़ावा देना ।
मृदा नमूनों का एकत्रीकरण
- सिंचित क्षेत्र में सीमांत एवं लघु कृषकों से 2.5 हैक्टेयर क्षेत्र में तथा मध्यम अर्द्ध मध्यम व बड़े सभी कृषकों से उनके द्वारा धारित प्रति जोत एक नमूना लिया जाना ।
- असिंचित क्षेत्र में सीमांत, लघु, अर्द्धमध्यम, मध्यम कृषकों के 10 हैक्टेयर प्रति ग्रिड एक नमूना लिया जाना है तथा बड़े कृषकों से उनके द्वारा धारित प्रति जोत एक नमूना लिया जाना ।
- मृदा नमूना का एकत्रीकरण किसान मीटर / ग्रामीण कृषि विस्तार अधिकारी के माध्यम से किया जा रहा है ।
- किसान भाई अपने ग्राम के किसान मित्र / ग्रामीण कृषि विस्तार अधिकारी से सम्पर्क कर अपने खेत का मिट्टी नमूना एकत्रित करा सकते हैं ।
मृदा नमूना विश्लेषण
मिट्टी परीक्षण प्रयोगशाला में ग्रिड नमूना का विश्लेषण कर मृदा का PH विधुत चालकता, आग्रेनिक कार्बन, नत्रजन, फास्फोरस, पोटास, सल्फर, जस्ता, लोहा, ताँबा, मैग्नीज, बोरान के स्तर की जाँच कर पौषक तत्व / उर्वरकों की स्वाईल हैल्थ कार्ड के माध्यम से अनुशंसा करना ।
स्वाईल हैल्थ कार्ड
योजनांतर्गत कृषकों के खेतों से लिए गये ग्रिड नमूना अंतर्गत आने वाले क्षेत्र में सम्मिलित (अधिकतम दस कार्ड प्रति ग्रिड) कृषकों को नी:शुल्क स्वाईल हैल्थ कार्ड उपलब्ध कराया जाना है।
स्वाईल हैल्थ कार्ड वितरण
मिट्टी नमूना विश्लेषण उपरांत मृदा स्वास्थ्य कार्ड, कृषकों को कृषक मीटर / ग्रामीण कृषि विस्तार अधिकारी के माध्यम से उपलब्ध कराये जाने का प्रावधान किया गया है |
परीक्षण आधरित प्रदर्शन
मृदा नमूना परीक्षण उपरांत परिणाम आधारित 10 हैक्टेयर की ग्रिड में एक प्रदर्शन आयोजित किया जाना प्रावधानित है |
सूक्षम पोषक तत्वों पर अनुदान
मृदा सुधारक – जिप्सम, फास्फोजिप्सम, बैंटोनईट सल्फर पर लागत का 50 % या अधिकतम 700 रूप. प्रति हैक्टेयर सूक्ष्म तत्वों पर लागत का 50% या अधिकतम 500 रु. प्रति हैक्टेयर, जैव उर्वरकों हेतु लागत का 50 प्रतिशत या अधिकतम 300 रु. प्रति हैक्टेयर कृषकों को अनुदान देय है लाईम एवं लाईमिंग मटेरियर्स के लिये कीमत का 50 % अधिकतम 1000 रु. पर हैक्टेयर देय का प्रावधान है |
प्रशिक्षण
स्वाईल हैल्थ कार्ड योजनांतर्गत कृषकों, मैदानी अमले एवं प्रयोगशाला के मृदा विश्लेषकों को प्रशिक्षण किये जाने का प्रावधान किया गया है।
वर्तमान में 50 विभागीय एवं 28 कृषि विश्वविधालयों द्वारा मिट्टी परीक्षण प्रयोगशालायें संचालित है, जिनके माध्यम से कृषकों के नमूनों का मिट्टी परीक्षण कराया जाकर स्वाईल हैल्थ कार्ड उपलब्ध कराया जा रहा हैं।
कृषकों को विकास खण्ड स्तर पर मृदा परीक्षण की सुविधा उपलब्ध कराये जाने हेतु 265 नवीन मिट्टी परीक्षण प्रयोगशालायें स्थापित की जाना प्रक्रियाधीन है।
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