नैनो डीएपी के उपयोग से अधिक क्लोरोफिल, प्रकाश संश्लेषण दक्षता और बेहतर गुणवत्ता वाली फसलें प्राप्त होती हैं।
नैनो डीएपी के उपयोग से फसल की पैदावार बढ़ती है, जिससे किसानों की आय में वृद्धि होती है।
नैनो डीएपी रसायनिक खादों के ज्यादा उपयोग को कम करता है जो खेती में इस्तेमाल होते हैं और इससे खेती में पोषक तत्वों का सही अनुप्रयोग होता है।
नैनो डीएपी एक द्रवयमय फॉर्मूलेशन है, जिसे रखना और ले जाना आसान होता है, जिससे यह किसानों के लिए एक सुविधाजनक विकल्प बनता है।
नैनो डीएपी को पौधों पर डाली जाता है। इससे पौधों को तुरंत नाइट्रोजन और फास्फोरस की आवश्यकता पूरी होती है। यह किसानों के लिए एक आसान विकल्प है।
नैनो डीएपी पर्यावरण के साथ मिलकर काम करता है और फसलों को पौष्टिक तत्वों से भर देने के लिए आवश्यकताओं को पूरा करता है, जिससे पर्यावरण को कोई नुकसान नहीं पहुंचता है।
नैनो डीएपी के कण बहुत छोटे होते हैं जिसका आकार 100 नैनोमीटर से भी कम होता है। इसलिए ये अन्य उर्वरकों के मुकाबले और भी छोटे होते हैं।